मंत्रियों की हार की होगी समीक्षा, बूथ स्तर पर होगा विश्लेषण
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भोपाल। भाजपा की लहर के बाद प्रदेश में बाहर मंत्रियों को मिली हार को लेकर भाजपा संगठन की चिंता बढ़ी है। भाजपा अब इन मंत्रियों की हार की समीक्षा बूथ स्तर पर करने की तैयारी कर रही है। साथ ही मंत्रियों के परफार्मेंस की भी समीक्षा करने की तैयारी कर रही है।
प्रदेश में भाजपा को इस बार विधानसभा चुनाव में जिस तरह जीत मिली उससे विरोधी दल को आश्चर्य में हैं। मगर भाजपा की चिंता इस जीत के बाद अपने हारे बारह मंत्रियों को लेकर है। भाजपा संगठन की चिंता इस बात को लेकर है कि प्रदेश में सरकार तो भाजपा की बनी, मगर बारह मंत्री हारे क्यों? इसका विश्लेषण करने की तैयारी अब संगठन ने की है। संगठन मंत्रियों की हार की समीक्षा करने की तैयारी कर रहा है। इसके तहत बूथ स्तर पर इसका विश्लेषण किया जाएगा, जहां उसे हार मिली है। इनमें जीती हुई सीटों के बूथ भी शामिल हैं। संगठन का मानना है कि सभी मंत्री भाजपा के जबरदस्त परफॉर्मेंस के बीच भी परफॉर्म नहीं कर पाए। इसके पीछे कारण क्या रहा।
दरअसल, लोकसभा चुनाव से पहले भाजपा अपनी हर कमजोरी को ढूंढकर उसे मिटा देना चाहती है। जहां जो कमी रही है उसे दूर कर लेना चाहती है। ऐसे में हारे हुए बूथ पर पार्टी का फोकस पहले से और ज्यादा हो गया है। भाजपा ने लोकसभा चुनाव में इन बूथों को जीतने का लक्ष्य रखा है।
इन मंत्रियों को मिली हार
नरोत्तम मिश्रा के अलावा गौरीशंकर बिसेन, राजवर्धन दत्तीगंव, महेंद्र सिंह सिसोदिया, राहुल लोधी, कमल पटेल, प्रेम पटेल, अरविंद भदौरिया, भारत सिंह कुशवाहा, सुरेश धाकड़, रामखिलावन पटेल और रामकिशोर कावरे का नाम शामिल है।
प्रदेश में भाजपा को इस बार विधानसभा चुनाव में जिस तरह जीत मिली उससे विरोधी दल को आश्चर्य में हैं। मगर भाजपा की चिंता इस जीत के बाद अपने हारे बारह मंत्रियों को लेकर है। भाजपा संगठन की चिंता इस बात को लेकर है कि प्रदेश में सरकार तो भाजपा की बनी, मगर बारह मंत्री हारे क्यों? इसका विश्लेषण करने की तैयारी अब संगठन ने की है। संगठन मंत्रियों की हार की समीक्षा करने की तैयारी कर रहा है। इसके तहत बूथ स्तर पर इसका विश्लेषण किया जाएगा, जहां उसे हार मिली है। इनमें जीती हुई सीटों के बूथ भी शामिल हैं। संगठन का मानना है कि सभी मंत्री भाजपा के जबरदस्त परफॉर्मेंस के बीच भी परफॉर्म नहीं कर पाए। इसके पीछे कारण क्या रहा।
दरअसल, लोकसभा चुनाव से पहले भाजपा अपनी हर कमजोरी को ढूंढकर उसे मिटा देना चाहती है। जहां जो कमी रही है उसे दूर कर लेना चाहती है। ऐसे में हारे हुए बूथ पर पार्टी का फोकस पहले से और ज्यादा हो गया है। भाजपा ने लोकसभा चुनाव में इन बूथों को जीतने का लक्ष्य रखा है।
इन मंत्रियों को मिली हार
नरोत्तम मिश्रा के अलावा गौरीशंकर बिसेन, राजवर्धन दत्तीगंव, महेंद्र सिंह सिसोदिया, राहुल लोधी, कमल पटेल, प्रेम पटेल, अरविंद भदौरिया, भारत सिंह कुशवाहा, सुरेश धाकड़, रामखिलावन पटेल और रामकिशोर कावरे का नाम शामिल है।