वाहन चालकों, चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की भर्ती आउटसोर्स से किए जाने का विरोध
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भोपाल। वाहन चालक और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों के पदों पर आउटसोर्सिंग के जरिए भरने का तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ ने विरोध किया है। संघ ने कहा कि अगर ऐसा किया गया तो आउटसोर्स के नाम पर ठेकेदारों की चांदी हो जाती है।
तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ के प्रदेश महामंत्री उमाशंकर तिवारी ने बताया कि वित्त विभाग के 18 नवंबर 2024 को जारी आदेश के अनुसार 5 साल में ढाई लाख पदों को भरने का जो आदेश जारी किया गया है उक्त आदेश में वाहन चालक एवं चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों के पदों पर आउटसोर्सिंग से पदों को भरने की बात का संघ द्वारा विरोध जताया गया है। तिवारी ने बताया जारी आदेश अनुसार वाहन चालक एवं चतुर्थ श्रेणी दोनों पदों पर विशिष्ट विभाग में ही नियमित पदों पर वित्त विभाग से मंजूरी लेकर नियमित भर्ती की जा सकेगी ऐसा होने से मध्य प्रदेश में 62 हजार से अधिक चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों एवं लगभग 15 हजार वाहन चालकों के पद आने वाले समय में समाप्त हो जाएंगे। साथ ही भविष्य में नियमित वाहन चालक एवं चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारी किसी भी विभाग में नजर नहीं आएंगे। उन्होंने कहा कि यह सरकार की एक सोची समझी साजिश के तहत इन पदों को समाप्त किया जाने की तैयारी है। आउटसोर्स पर आने वाले कर्मचारियों का शोषण भी हर विभाग में होता है। आउटसोर्स के नाम पर ठेकेदारों की चांदी हो जाती है। तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ ने प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव से वाहन चालक एवं चतुर्थ श्रेणी के पदों को भी नियमित नियुक्ति से भरे जाने की मांग की है ताकि उनके परिवार एवं कर्मचारियों को भविष्य के प्रति सुरक्षा एवं उचित वेतन मिल सके।
तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ के प्रदेश महामंत्री उमाशंकर तिवारी ने बताया कि वित्त विभाग के 18 नवंबर 2024 को जारी आदेश के अनुसार 5 साल में ढाई लाख पदों को भरने का जो आदेश जारी किया गया है उक्त आदेश में वाहन चालक एवं चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों के पदों पर आउटसोर्सिंग से पदों को भरने की बात का संघ द्वारा विरोध जताया गया है। तिवारी ने बताया जारी आदेश अनुसार वाहन चालक एवं चतुर्थ श्रेणी दोनों पदों पर विशिष्ट विभाग में ही नियमित पदों पर वित्त विभाग से मंजूरी लेकर नियमित भर्ती की जा सकेगी ऐसा होने से मध्य प्रदेश में 62 हजार से अधिक चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों एवं लगभग 15 हजार वाहन चालकों के पद आने वाले समय में समाप्त हो जाएंगे। साथ ही भविष्य में नियमित वाहन चालक एवं चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारी किसी भी विभाग में नजर नहीं आएंगे। उन्होंने कहा कि यह सरकार की एक सोची समझी साजिश के तहत इन पदों को समाप्त किया जाने की तैयारी है। आउटसोर्स पर आने वाले कर्मचारियों का शोषण भी हर विभाग में होता है। आउटसोर्स के नाम पर ठेकेदारों की चांदी हो जाती है। तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ ने प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव से वाहन चालक एवं चतुर्थ श्रेणी के पदों को भी नियमित नियुक्ति से भरे जाने की मांग की है ताकि उनके परिवार एवं कर्मचारियों को भविष्य के प्रति सुरक्षा एवं उचित वेतन मिल सके।